केजरीवल के सबूतों में है दम , EVM से कैसे गायब हो गए वोट ?
अरविन्द केजरीवाल ने आज (बुधवार)प्रेस कॉन्फ्रेंस कर EVM पर सवाल उठाये। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि पंजाब में आम आदमी पार्टी के खराब प्रदर्शन के पीछे की वजह ईवीएम में गड़बड़ी भी हो सकती है। अरविन्द केजरीवाल ने बताया कि 'आम आदमी पार्टी ' के खाते में आने वाले लगभग 20 से 25 प्रतिशत वोट शायद शिरोमणि अकाली दल -भाजपा गठबंधन को चले गए हैं। केजरीवाल ने कहा कि आम आदमी पार्टी को सिर्फ 20 सीटें मिलना समझ से परे है और यह इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीनों की विश्वसनीयता पर एक बड़ा सवाल खड़ा करता है, क्योंकि विभिन्न राजनीतिक पंडितों ने पार्टी के लिए भारी जीत की भविष्यवाणी की थी। केजरीवाल ने कहा, कई लोगों का मानना था कि पंजाब में अकाली दल के खिलाफ लहर है और आम आदमी पार्टी जीत रही है. फिर भी आप को 25 फीसदी वोट मिले जबकि अकाली दल को 31 फीसदी- ये कैसे संभव है?
केजरीवाल ने कहा, ईवीएम में विश्वास बनाए रखने की जिम्मेदारी चुनाव आयोग की है, वे इससे भाग नहीं सकते। उन्होंने माना कि गोवा और पंजाब में चुनाव रद्द किया जाने की बात संभव नहीं है लेकिन भविष्य के लिए चुनाव प्रक्रिया में भरोसा कायम रखने की जरूरत है। उन्होने कुछ उदाहरण दिए ' सुजान पुर विधानसभा के बूथ नंम्बर 73 में हमें 3 वोट मिले जबकि हमारे सात कर्मठ कार्यकर्ता है जो पार्टी के लिए वोट मागे इन सात कार्यकर्ताओ के 17 परिवार के लोग है इनके वोट खा गए ?' इसी तरह के कई उदाहरण दिए जो यहाँ सुन सकते है
दिल्ली के मुख्यमंत्री केजरीवाल के आरोपों पर पलवार करते हुए अकाली दल अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल की पत्नी और केंद्रीय मंत्री हरसिमरत कौर बादल ने उन्हें सलाह दी कि ईवीएम मशीनों की विश्वसनीयता पर सवाल उठाने की बजाय बेहतर होगा कि वह 'विपश्यना' करें। हरसिमरत कौर ने यह भी कहा कि पंजाब में आम आदमी पार्टी के खराब प्रदर्शन के बाद केजरीवाल शायद अपना मानसिक संतुलन खो चुके हैं। इसलिए ऐसी बातें कह रहे हैं। जब दिल्ली में आप ने 67 सीटें जीती थी तब तो उन्होंने कुछ भी नहीं कहा था. हरसिमरत कौर ने कहा कि पंजाब की जनता ने आम आदमी पार्टी को निकाल फेंका है और यह बेहतर होगा कि केजरीवाल अपनी ऊर्जा दिल्ली में पार्टी के मामलों पर केंद्रित करें। उन्होंने कहा, केजरीवाल के लिए बेहतर होगा कि वह विपश्यना करें।
आप को मालूम है कि पंजाब विधानसभा चुनाव में अकाली दल-भाजपा गठबंधन को को हार का सामना करना पड़ा। 117-सदस्यीय विधानसभा में उसे महज 15 सीटें मिली थी, जबकि उसकी सहयोगी भाजपा ने 3 सीटें जीती। आम आदमी पार्टी को 20 सीटों पर कामयाबी मिली. कांग्रेस ने 77 सीटों पर जीत हासिल की और अमरिंदर सिंह राज्य के अगले मुख्यमंत्री के रूप में गुरुवार को शपथ ग्रहण करने जा रहे हैं। और आम आदमी पार्टी के बरिष्ठ नेता फुल्का बिपक्ष के नेता बनेगे।
No comments:
Post a Comment
Thanks For Visit my site